चंडीगढ़
सीटीयू वर्कर यूनियन (सांझा मोर्चा) की अगुवाई में सीटीयू की सभी यूनियनों ने किलोमीटर स्कीम पर प्राइवेट बसें लेने के विरोध में सोमवार को डायरेक्ट टरांसपोरट के दफ्तर में 11 कर्मचारियों ने भूख हड़ताल किया। सीटीयू कर्मचारी कई दिनों से किलोमीटर स्कीम की प्राइवेट बसों का विरोध कर रहे हैं। यूनियन नेता प्रधान धरमिंदर सिंह राही, उप प्रधान चरनजीत सिंह डींढसा, महासचिव सतिंदर सिंह और कैशीयर तेजवीर सिंह ने कहा कि यूटी प्रशासन उतरी भारत में पहला स्थान प्राप्त कर चुकी सीटीयू को प्राइवेट हाथों में देने की तैयारी में है। जिसे किसी भी कीमत पर बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्हे सीटीयू मैनेजमेंट के धमकी भरे विवहार की निंदा करते कहा कि सीटीयू के पास दो जनरल मैनेजर है लेकिन दोनों नान टेकनिकल गलत तरीके से भर्ती किए गए है। जिन्हें टैकनीकल काम की कोई जानकारी नहीं है। जबकि जनरल मैनेजर की पोस्ट टैकनीकल पोस्ट है।
सीटीयू में 417 बसों का सैकशन फलीट है। इनमें से जो बसें कंडम हो गई है उनको बदलने के लिए केंद्र सरकार ने लगभग 21 करोड़ रुपये का बजट दिया हुआ है। जिसमें से 41 HVAC बसों के टेंडर में 20 बसें किलोमीटर स्कीम में प्राइवेट लाने के लिए टेंडर जारी किया है। जिसका कर्मचारी पुरजोर विरोध कर रहे हैं। नेताओं ने यूटी प्रशासन से मांग की कि सीटीयू की 417 बसों का फलीट पूरा किया जाए। खाली पड़ी रेगुलर पोस्टें तुरंत भर्ती जाए। डीपीसी जल्द की जाए।
आउटसोर्सिंग कर्मचारियों का ठेकेदार द्वारा किया जा रहा आर्थिक शोषण बंद किया जाए और उन्हें रेगुलर किया जाए। नेताओं ने चेतावनी दी कि अगर किलोमीटर स्कीम की प्राइवेट बसों का टेंडर रद ना किया तो कर्मचारी कभी भी सख्त ऐक्शन करने को मजबूर होंगे। इस भूख हड़ताल में बैठे कर्मचारियों नरेंद्र पाल सिंह, रजिंदर सिंह, गुरमेल सिंह दारा, भुपिंदर सिंह, विजे कुमार, सुभाष चंद, संजीव कुमार, अमित कुमार, हरविंदर सिंह, बलजीत सिंह आदि ने यूटी प्रशासन से किलोमीटर स्कीम की प्राइवेट बसों का टेंडर रद्द करने की पुरजोर मांग की है। यह जानकारी जारी एक विज्ञप्ति में सीटीयू वर्कर यूनियन के महासचिव सतिंदर सिंह ने दी।